छत्तीसगढ़राज्य

ध्वनि प्रदूषण: हाई कोर्ट के आदेश का पालन करें कलेक्टर और पर्यावरण संरक्षण मंडल के अधिकारी

रायपुर

गणेश मूर्ति विसर्जन और स्थापना के दौरान वाहनों में स्पीकर और डीजे बजाने, सड़कों पर मंच लगाकर स्पीकर बजाने और गणेश त्यौहार के दौरान सड़क पर स्पीकर और डीजे रखकर बजाने को लेकर डीजे किराए पर देने वालों, उन्हें लेने वालों और बजाने वालों पर पर्यावरण (संरक्षण) अधिनियम के तहत कार्यवाही करने की मांग शहर के ईएनटी विशेषज्ञ डॉक्टर राकेश गुप्ता ने कलेक्टर रायपुर, सचिव पर्यावरण विभाग, अध्यक्ष और सदस्य सचिव छत्तीसगढ़ पर्यावरण संरक्षण मंडल को पत्र लिख कर की है।

क्या कहा है कोर्ट और राज्य शासन ने
छत्तीसगढ़ उच्च न्यायलय ने दिनांक 27 अप्रैल 2017 को ध्वनि प्रदूषण को लेकर दायर जनहित याचिका के निर्णय में कहा है कि कानूनों के तहत कोर्ट में शिकायत करने की शक्ति प्राथमिक रूप से छत्तीसगढ़ पर्यावरण संरक्षण मंडल के अधिकारियों के पास हैज् जिला प्रशासन की भी भूमिका है। मामले में किसी भी अधिकारी द्वारा किसी नागरिक के टेलीफोन का इंतजार करने का कोई सवाल ही नहीं हैज् राज्य शासन के आदेश दिनांक 11.09.2024 में भी यह स्पष्ट किया गया है कि राज्य पर्यावरण संरक्षण मंडल के अधिकारियों को भी शिकायत दर्ज करना है।

कौन कौन कोर्ट में शिकायत दर्ज करवा सकते हैं
डॉ गुप्ता ने अधिकारियों को याद दिलाते हुए लिखा है कि पर्यावरण (संरक्षण) अधिनियम के तहत जारी अधिसूचना के अनुसार जिला कलेक्टर, पर्यावरण विभाग के सचिव, छत्तीसगढ़ पर्यावरण संरक्षण मंडल के अध्यक्ष, सदस्य सचिव पर्यावरण (संरक्षण) अधिनियम 1986 के तहत कोर्ट में शिकायत दर्ज कराने के लिए सक्षम घोषित किए गए हैं।

क्या कहता है ध्वनि प्रदूषण नियम
पर्यावरण (संरक्षण) अधिनियम के तहत अधिसूचित ध्वनि प्रदूषण (विनियमन और नियंत्रण) नियम, 2000 के अनुसार (1) लिखित अनुमति प्राप्त किए बिना लाउडस्पीकर उपयोग नहीं किया जा सकता, (2) लाउडस्पीकर उपयोग रात में (रात 10 बजे से सुबह 6 बजे के बीच) बंद परिसरों को छोड़कर नहीं किया जा सकता (3) इसके अलावा साइलेंस जोन (अस्पताल, एजुकेशन इंस्टिट्यूट, कोर्ट) में या मानक से अधिक ध्वनि विस्तार के लिए ध्वनि एम्पलीफायर का उपयोग करने पर या कोई भी साउंड इंस्ट्रूमेंट नहीं बजाया जा सकता।

क्या है साउंड लिमिटर का प्रावधान
4 नवंबर 2019 को पर्यावरण (संरक्षण) अधिनियम 1986 के तहत जारी अधिसूचना के अनुसार किसी भी ध्वनि प्रणाली को किराए पर देने वाले और उपयोग या किराए पर लेने वाले को बिना साउंड लिमिटर के ध्वनि प्रणाली का उपयोग नहीं करना है।

क्या है सजा का प्रावधान
पर्यावरण (संरक्षण) अधिनियम के प्रावधानों के तहत ध्वनि प्रदूषण नियमों, आदेशों, दिशानिदेर्शों का उलंघन करने पर प्रत्येक उल्लंघन पर 5 साल की सजा या रुपए एक लाख का जुमार्ना या दोनों का प्रावधान किया गया है।

क्या हुआ रायपुर में
(1) गणेश मूर्ति स्थापना और गणेश मूर्ति विसर्जन के दौरान रायपुर जिला प्रशासन की अनुमति बिना और बिना साउंड लिमिटर के वाहनों पर स्पीकर और डीजे रखकर रात भर बजाये गए (2) गणेश मूर्ति विसर्जन के दौरान सड़कों पर मंच लगा कर बिना अनुमति के और बिना साउंड लिमिटर के रात भर स्पीकर बजाये गए (3) गणेश त्यौहार के दौरान सडकों पर रख कर बिना ध्वनि सीमक और अनुमति के स्पीकर और डीजे बजाये गए, शंकर नगर चौक पर एक एजुकेशन इंस्टिट्यूट के सामने 17 सितम्बर को अत्यधिक तेज ध्वनि में तीन घंटे सड़क पर डीजे रख कर बिना अनुमति के बिना साउंड लिमिटर के बजाया गया।

क्या मांग की गई है
गणेश त्यौहार के दौरान, गणेश मूर्ति स्थापना और गणेश मूर्ति विसर्जन के दौरान जिन लोगों द्वारा स्पीकर और डीजे सिस्टम किराए पर दे कर और ले कर, (2) त्यौहार के दौरान सड़कों पर रख कर, (3) गणेश मूर्ति विसर्जन के दौरान सड़क पर मंच पर रखकर या वाहनों में रखकर बजाए गए हैं उनके विरुद्ध पर्यावरण (संरक्षण) अधिनियम के तहत कोर्ट में शिकायत दर्ज कराने हेतु पत्र लिखा गया है। विसर्जन के दौरान की रिकॉर्डिंग ट्राफिक सिग्नल में लगे कैमरों से की गई है।

डॉ गुप्ता ने बताया कि कुछ जिलों में खानापूर्ति कर डीजे छोड?े की जानकारी मिलने पर उन्होंने मुख्य सचिव को भी सभी जिला कलेक्टर को पर्यावरण (संरक्षण) अधिनियम के तहत कार्यवाही के निर्देश देने के लिए पत्र लिखा है। उन्होंने बताया कि कोर्ट के आदेश का उलंघन होने पर वे अधिकारियों के विरुद्ध अवमानना याचिका दायर करेंगे।

News Desk

The News Desk at Janmorcha.in is committed to delivering timely, accurate, and in-depth coverage of the latest events from across the globe. Our team of seasoned journalists and editors work tirelessly to ensure that our readers are informed with the most current and reliable news. Whether it's breaking news, politics, sports, or entertainment, the News Desk is dedicated to providing comprehensive analysis and insights that matter to our audience. Trust the News Desk at Janmorcha.in to keep you informed with the news that shapes the world around us.

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button