मध्यप्रदेशराज्य

ओंकारेश्वर पॉवर प्लांट से एक झटके में बेरोजगार हो गए मछुआरे

भोपाल । विकास की अंधी दौड़ के बीच यह खबर सरकारों को चौंकाने वाली है। क्योंकि दुनिया के सबसे बड़े सोलर पावर प्लांट ओंकारेश्वर से बिजली उत्पादन शुरू हो गया है। लेकिन इसका दुखद पहलू यह है कि इस प्लांट की वजह से मछुआरे बेरोजगार हो गए है। वे पुश्तैनी काम छोडक़र अब दिहाड़ी मजदूरी के लिए मजबूर हो चुके हैं। हालांकि नवीन और नवीकरणीय ऊर्जा मंत्री राकेश शुक्ला ने कहा कि सौलर प्लांट से किसी का भी काम धंधा नहीं छूटा और न ही कोई बेरोजगार हुआ है। पिछले महीने 25 दिसंबर 2024 को देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मप्र के खंडवा जिले के ओंकारेश्वर में फ्लोटिंग सोलर पावर प्लांट का उद्घाटन किया। नर्मदा नदी पर बने ओंकारेश्वर डेम के रिजर्वायर में सोलर प्लेट लगाई गई हैं। मछुआरों का दावा है कि इससे 350 लोग बेरोजगार हो गए हैं। मछुआरों का कहना है कि नेता लोग ऊपर से उडक़र चले जाते हैं। नीचे वाले किस हाल में हैं, उसकी कोई खबर नहीं लेता। यहां जो बिजली पैदा करने के लिए प्लेट लगाई हैं, उससे हमारे 350 मछुआरे बेरोजगार हो गए हैं।

बोट जाल काट देती है, सोलर प्लांट वाले धमकाते हैं
मां सतमाता सैलानी फिशरीज को-ऑपरेटिव सोसायटी, एखंड के अध्यक्ष सुभान सिंह तिरोले कहते हैं कि  सोलर प्लांट लगाकर सरकार ने हम मछुआरों के पेट पर लात मार दी है। इसकी वजह से हम सब बेरोजगार हो गए हैं। अब हमें पेट पालने के लिए जो भी काम मिलता है, वो कर लेते हैं। काम भी ठीक से नहीं मिलता। तिरोले ने बताया कि जब सोलर प्लांट बन रहा था तो दिल्ली से कुछ लोग सर्वे के लिए आए थे। हमसे बोले कि अब हम आते रहेंगे। तुम सबको मुआवजा और काम दिलवाएंगे। सर्वे करने के बाद वो लोग चले गए। फिर कभी लौटकर नहीं आए। हम लोगों को न मुआवजा मिला, न काम।

हाईकोर्ट में लगाई याचिका
सुभाष सिंह तिरोले ने कहा कि जब भी हम अपनी बात रखने कलेक्टर के पास जाते हैं तो वे कहते हैं कि आप मत्स्य विभाग के पास जाइए। जब मत्स्य विभाग के पास जाते हैं तो वे कहते हैं कि मत्स्य महासंघ है, जो इन सब की देखरेख करता है, मत्स्य महासंघ के पास जाइए। जब मत्स्य महासंघ के पास जाते हैं, तो वे कहते हैं कि यह तो पूरा प्रशासनिक मामला है। कोई व्यक्ति हमें किसी तरह की राहत नहीं देता है। बस हमें गोल-गोल घुमाते रहते हैं। अब हम लोगों ने न्याय के लिए हाईकोर्ट में याचिका दायर की है। मछुआरा गीता बाई बताती हैं कि पहले एक बार में एक क्विंटल तक मछली जाल में फंस जाती थी। अब तो एक किलो मछली भी नहीं फंसती है। हमारे खरीददार भी हमसे पूछते हैं कि मछली क्यों नहीं मिल रही, हम क्या बताएं।

News Desk

The News Desk at Janmorcha.in is committed to delivering timely, accurate, and in-depth coverage of the latest events from across the globe. Our team of seasoned journalists and editors work tirelessly to ensure that our readers are informed with the most current and reliable news. Whether it's breaking news, politics, sports, or entertainment, the News Desk is dedicated to providing comprehensive analysis and insights that matter to our audience. Trust the News Desk at Janmorcha.in to keep you informed with the news that shapes the world around us.

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button