राजनीति

विधानसभा उपचुनाव: 13 राज्यों की 47 सीटें कई दिग्गजों के भविष्य का करेंगी फैसला

रांची। देश के 13 राज्यों में विधानसभा की 47 सीटों पर उपचुनाव होना है। ये वो सीटें हैं जिनमें से अधिकांश सीटें विधायकों के सांसद चुने जाने के कारण रिक्त हुई हैं। बिहार में 4, उत्तर प्रदेश में 10 और पश्चिम बंगाल में 6 सीटें शामिल हैं। बिहार, बंगाल और उत्तर प्रदेश में उपचुनाव की अहमियत बढ़ गई है, खासकर लोकसभा चुनाव में भाजपा की अपेक्षित सफलता नहीं मिलने के कारण। ममता बनर्जी की टीएमसी ने बंगाल में भाजपा को नुकसान पहुंचाया, वहीं उत्तर प्रदेश में समाजवादी पार्टी के नेतृत्व वाले विपक्ष ने भी भाजपा के खिलाफ प्रभावी रणनीति अपनाई। बिहार में भाजपा को 5 सीटों का नुकसान हुआ, जबकि एनडीए की सहयोगी जेडीयू की भी 4 सीटें कम हुईं। तेजस्वी यादव, जो पिछले विधानसभा चुनाव में अपने बूते विपक्षी गठबंधन के विधायकों की संख्या 110 तक ले गए थे, उपचुनाव को अपनी प्रतिष्ठा बनाए रखने के लिए एक अवसर के रूप में देख रहे हैं। जबकि, मुख्यमंत्री नीतीश कुमार अपने विकास कार्यों पर भरोसा रखते हैं।

बिहार में अगले साल यानी 2025 में विधानसभा का पूर्णकालिक चुनाव होना है, जबकि पश्चिम बंगाल में 2026 और उत्तर प्रदेश में 2027 में चुनाव होंगे। इन उपचुनावों को महत्वपूर्ण इसलिए माना जा रहा है क्योंकि लोकसभा चुनाव में भाजपा की स्थिति कमजोर रही है। इन नतीजों को सेमीफाइनल के रूप में देखा जा रहा है, जिसमें सीएम योगी, ममता बनर्जी, तेजस्वी यादव और प्रशांत किशोर की प्रतिष्ठा दांव पर है। पश्चिम बंगाल में टीएमसी ने भाजपा को भारी नुकसान पहुंचाया है, और भाजपा को अपनी खोई जमीन वापस पाने के लिए चुनौतियों का सामना करना होगा। ममता बनर्जी को भी कई मुद्दों पर जवाब देना होगा, जिसमें भ्रष्टाचार और महिला अत्याचार के खिलाफ बने माहौल को लेकर भाजपा द्वारा उठाए गए सवाल शामिल हैं। इस प्रकार, उपचुनाव सभी राजनीतिक दलों के लिए अग्निपरीक्षा साबित होने वाले हैं, और नतीजे आगामी विधानसभा चुनावों की दिशा तय करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगे। प्रशांत किशोर की पार्टी जन सुराज भी इस समय एक नया सियासी ध्रुव बनकर उभरी है। उन्होंने बिहार में बदलाव का माहौल तैयार करने के लिए कई नए चेहरे मैदान में उतारे हैं, जिसमें सेना के रिटायर्ड जेनरल एसके सिंह का नाम भी शामिल है। उत्तर प्रदेश में, भाजपा ने उम्मीदवार चयन में खुली छूट दी है और अंतर्कलह को खत्म करने की कोशिश कर रही है। अगर योगी आदित्यनाथ उपचुनाव में बेहतर प्रदर्शन करते हैं, तो यह लोकसभा चुनाव में पार्टी की खस्ताहाली के कारणों को स्पष्ट कर सकता है।

News Desk

The News Desk at Janmorcha.in is committed to delivering timely, accurate, and in-depth coverage of the latest events from across the globe. Our team of seasoned journalists and editors work tirelessly to ensure that our readers are informed with the most current and reliable news. Whether it's breaking news, politics, sports, or entertainment, the News Desk is dedicated to providing comprehensive analysis and insights that matter to our audience. Trust the News Desk at Janmorcha.in to keep you informed with the news that shapes the world around us.

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button