व्यापार

2047 तक रिन्यूएबल एनर्जी से 18 लाख मेगावाट बिजली बनाने का प्लान, कैसे हासिल होगा टारगेट?

वर्ष 2030 तक देश में रिन्यूएबल एनर्जी सेक्टर से पांच लाख मेगावाट बिजली बनाने के लक्ष्य को लेकर अभी सवाल उठ रहे हैं, लेकिन केंद्र सरकार वर्ष 2047 के रोडमैप पर काम करना शुरू कर चुकी है। नवीन व नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय (एमएनआरई) ने वर्ष 2047 तक रिन्यूएबल सेक्टर से कुल 18 लाख मेगावाट बिजली क्षमता देश में लगाने का लक्ष्य रखा है। इसे किस तरह से हासिल किया जाएगा, इसको लेकर अगले दो दिनों तक (14-15 नवंबर, 2024) मंत्रालय के अधिकारी विचार करने जा रहे हैं।

एमएनआरई की तरफ से जानकारी दी गई है कि उक्त उद्देश्यों के लिए आयोजित 'चिंतन शिविर' में सरकारी प्रतिनिधियों के अलावा, वित्तीय संस्थान, उद्योग जगत के प्रतिनिधि, रिन्यूएबल सेक्टर की कंपनियों के सीईओ के अलावा राज्य सरकारों के अधिकारी भी हिस्सा लेंगे।

चिंतन शिविर के पहले दिन पीएम सूर्य घर मुफ्त बिजली योजना, सोलर मैन्युफैक्चरिंग में भारत को पूरी तरह से आत्मनिर्भर बनाने, भारत को पवन ऊर्जा मैन्युफैक्चरिंग में हब बनाने, रिन्यूएबल सेक्टर में उत्पादित बिजली के लिए जरूरी ट्रांसमिशन सिस्टम लगाने, समुद्री तट के पास स्थापित रिन्यूएबल ऊर्जा संयंत्रों को ट्रांसमिशन से जोड़ने की व्यापक नीति पर विमर्श होगा।

इसके दूसरे दिन रिन्यूएबल ऊर्जा की खरीद करने को लेकर बिजली वितरण कंपनियों की नीति, राष्ट्रीय बायोइनर्जी प्रोग्राम, देश में छोटे पनबजिली परियोजनाओं को एकीकृत तौर पर बढ़ावा देना, नई तरह की वित्तीय संसाधनों के इंतजाम जैसे विषयों पर मंथन होगा। इन दो दिनों के विमर्श में जो सहमति बनेगी उससे आगे की नीति बनाने में मदद मिलेगी।

भारत की कुल बिजली उत्पादन क्षमता अभी 4.60 लाख मेगावाट है जबकि बिजली की अधिकतम मांग 2.50 लाख मेगावाट इस साल रही है। केंद्रीय बिजली आयोग का आकलन है कि वर्ष 2047 तक भारत में बिजली की मांग 7.08 लाख मेगावाट तक रहेगी। इस हिसाब से देश की बिजली उत्पादन क्षमता 21 लाख मेगावाट रहने की बात कही गई है।
अब एमएनआरई सिर्फ सौर, पवन, पनबिजली, बायोगैस जैसे अपारंपरिक स्त्रोतों से ही 18 लाख मेगावाट बिजली क्षमता जोड़ने की योजना पर काम कर रहा है। अभी रिन्यूएबल सेक्टर का प्लांट लोड फैक्टर तकरीबन 31 फीसद है। इसमें आने वाले दिनों में कुछ सुधार होने की संभावना है। इस हिसाब से देखा जाए तो वर्ष 2047 तक भारत अपनी जरूरत का बहुत बड़ा हिस्सा रिन्यूएबल सेक्टर से पूरा कर लेगा।

अभी रिन्यूएबल सेक्टर से भारत की कुल बिजली उत्पादन क्षमता 2.10 लाख मेगावाट है। ऐसे में वर्ष 2030 तक के लक्ष्य को हासिल करने के लिए 2.90 लाख मेगावाट अतिरिक्त क्षमता और जोड़नी होगी। कई विशेषज्ञों ने कहा है कि मौजूदा रफ्तार से भारत के लिए इस लक्ष्य को हासिल करना आसान नहीं होगा।

News Desk

The News Desk at Janmorcha.in is committed to delivering timely, accurate, and in-depth coverage of the latest events from across the globe. Our team of seasoned journalists and editors work tirelessly to ensure that our readers are informed with the most current and reliable news. Whether it's breaking news, politics, sports, or entertainment, the News Desk is dedicated to providing comprehensive analysis and insights that matter to our audience. Trust the News Desk at Janmorcha.in to keep you informed with the news that shapes the world around us.

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button