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हैदराबाद में नए पुलिस स्टेशन की शुरुआत, जमीनी विवाद से जुड़े केस होंगे दर्ज

हैदराबाद: तेलंगाना के हैदराबाद में एक ऐसे पुलिस स्टेशन की शुरुआत होने जा रही है, जिसमें सिर्फ जमीनी विवाद से जुड़े केस ही देखे जाएंगे. ये स्टेशन हैदराबाद के बुद्ध भवन में बनाया जा रहा है. यह पुलिस स्टेशन फरवरी के दूसरे हफ्ते तक ऑफिशियली काम करना शुरू कर देगा. ये पुलिस स्टेशन सिर्फ सरकारी संपत्ति की सुरक्षा और आपदा प्रबंधन के मामलों से निपटेगा. इसका मतलब है कि यह पुलिस स्टेशन खास तौर पर हैदराबाद में झीलों, पार्कों, खुले स्थानों, सरकारी जमीनों और अन्य संपत्तियों की सुरक्षा के लिए बनाया गया है. रिपोर्ट के मुताबिक इस पुलिस स्टेशन में एक शिकायतकर्ता शिकायत करने पहुंच भी गया. उसने बताया कि वह हैदराबाद के पॉश सरूरनगर इलाका का रहने वाला है और सरूरनगर झील की करीब 30 एकड़ जमीन पर अतिक्रमण किया गया है. यहां आने से पहले हमने राजस्व अधिकारियों से कई बार गुहार लगाई थी. हमें उम्मीद है कि यहां की पुलिस हमें हमारी जमीन वापस दिला देगी.

90 एकड़ से 60 एकड़ बची
रेड्डी नाम के शख्स सरूरनगर इलाके में करीब 26 साल से रहे हैं. उन्होंने बताया कि अवैध निर्माणों की वजह से झील 90 एकड़ से घटकर 60 एकड़ रह गई है. इसकी जगह पर बनीं इमारतों को कानून के तहत नियमित किया जाना चाहिए या पर्यावरण कानूनों का उल्लंघन करने के लिए ध्वस्त कर दिया जाना चाहिए. रेड्डी की शिकायत पुलिस स्टेशन में दर्ज कर ली गई.

भूमि अतिक्रमण के मामले
इस नए स्टेशन के HYDRAA आयुक्त रंगनाथ, जो एक आईपीएस अधिकारी हैं. उन्होंने बताया कि अब झील और भूमि अतिक्रमण के इसी तरह के अलग-अलग सैकड़ों मामलों को इस पुलिस स्टेशन में ट्रांसफर कर दिए जाएंगे. 7 जनवरी को राज्य सरकार की ओर से जारी किए गए आदेश के मुताबिक इस पुलिस स्टेशन का नेतृत्व सहायक पुलिस आयुक्त स्तर के अधिकारी करेंगे.

झीलों की जमीन पर बनीं इमारतें
एक दूसरे याचिकाकर्ता एन वेंकटेश ने कहा कि हैदराबाद में दर्जनों झीलें और नाले हैं, जो शहर को हटकर बनाते हैं. इन्हें संरक्षित करना हर नागरिक का कर्तव्य है. हालांकि हाइड्रा पुलिस स्टेशन के संचालन के खिलाफ आलोचना भी की गई है. कई लोग जो पहले से ही अतिक्रमण की गई भूमि पर बनी इमारतों में रह रहे हैं. उनके पास दूसरा कोई ऑफ्शन नहीं है. अब तक हैदराबाद में कई विला, कन्वेंशन सेंटर और यहां तक कि घरों को भी ध्वस्त किया जा चुका है, जो झील के तल पर बने थे.

नहीं लगाने होंगे कई स्टेशनों के चक्कर
7 जनवरी के सरकारी आदेश में स्पष्ट रूप से कहा गया है कि ये पुलिस स्टेशन जमीन हड़पने वालों, अतिक्रमणकारियों और अन्य सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुंचाने वालों के खिलाफ केस दर्ज करेगा. याचिकाकर्ता एन वेंकटेश ने कहा कि अगर ऐसा कोई पुलिस स्टेशन नहीं होता, तो हमें हैदराबाद के तीन पुलिस स्टेशनों के चक्कर लगाने पड़ते, जहां हमने भूमि हड़पने की शिकायतें दर्ज कराई हैं.

News Desk

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